बेईमान लोग (Dishonest People)

dishonest people

एक समय की बात है। एक दिन राज दरबार में बादशाह अकबर और बीरबल अकेले बैठे हुए थे। दोनो कुछ महत्वपूर्ण विषय पर बातचीत कर रहे थे। बादशाह अकबर ने बीरबल से कहा कि हमारी प्रजा बहुत ही ईमानदार है न बीरबल। जिसपर बीरबल ने जवाद दिया हुजुर किसी भी राज्य में हर कोई पूरी तरह ईमानदार नहीं होता है।

सारा संसार बेईमानी पर ही चल रहा है। बीरबल की बात अकबर को अच्छी नहीं लगी। उसने बीरबल से पूछा तुम ऐसा क्यों बोल रहे हो। बीरबल ने कहा हुजुर मैं बिल्कुल सच बोल रहा हूं। आप चाहो तो अब मैं अपनी बात को सिद्ध कर सकता हूं। बीरबल का आत्मविश्वास देखकर बादशाह अकबर ने कहते है ठीक है अपनी बात को साबित कर दिखाओ।

बेईमान लोग : जनता की बेईमानी सामने लाने के लिए बीरबल ने बनाई ये योजना

बादशाह अकबर की इजाज़त पर बीरबल पूरी जनता की बेईमानी को बाहर निकालने के लिए योजना बनाने लगा। उसने मन ही मन सोचा कि लोग खुलेआम बेईमानी नहीं करते है इसलिए कुछ अलग ही करना होगा, जिससे की लोगो की बेईमानी बाहर आ सके।बीरबल ने पूरे राज्य में यह घोषणा कर दिया कि बादशाह अकबर एक बड़ा भोज आयोजित करना चाहते है।

Also Read :-

वह चाहते है कि इसके लिए सभी लोग इसमें अपना योगदान दें। आप लोगों को ज्यादा कुछ नहीं करना है, बस बर्तन में ढेर सारा दूध डाल दें। प्रज्ञा की ओर से इतना योगदान काफी होगा। घोषणा के बाद एक-दो बड़े मटके अलग अलग स्थान पर रख दिए जाते है। सभी ग्रामीण घोषणा को सुनकर दूध इकट्ठा करने के कार्य में लग जाते है।

बेईमान लोग : जनता की बेईमानी देख अकबर हुए हैरान

उसके बाद सभी गांव वालों ने सोचा की बाकी लोग तो मटके में दूध डालेंगे ही तो मैं दूध डालकर दूध को क्यों बर्बाद करूं मैं तो पानी ही डाल दूंगा। इतने सारे दूध में पानी को कोई समझ नहीं पाएगा। यानी सबके मन में यही था कि सामने वाले ने दूध डाला होगा। अगर मैं पानी मिला दूं तो क्या होगा।

सभी लोग अपने अपने काम करने लगते है। शाम तक वह बर्तन भर गया था। बीरबल राजा अकबर और कुछ रसोइयों को अपने साथ उन स्थानो पर ले गए जहां बर्तन रखे गए थे। बादशाह जिस किसी भी बर्तन में देखते उन्हें दूध की जगह केवल पानी नहीं दिखाई पड़ता। रसोइयों ने भी कहा कि हुजुर यह दूध नहीं है बल्कि इन सभी बर्तनो में सिर्फ और सिर्फ पानी है।

Also Read :-

यह सब देखकर बादशाह अकबर हैरान रह गए। वे सोच रहे थे कि मैं सबको ईमानदार समझ रहा था पर बस को बेईमान निकले। बीरबल की बात सच निकली। राजा ने बीरबल से कहा कि तुम ठीक कह रहे थे बीरबल दुनिया में रह जगह बेईमान लोग रहते है। मैने आज अपने आंखो से हकीकत को देख लिया। यह कहते हुए बादशाह अकबर बीरबल के साथ महल लौट जाते है।

कहानी से सीख :- इस कहानी से हमे यह सीख मिलती है कि हमे किसी पर भी आंख बंद कर विश्वास नहीं करना चाहिए। हर किसी में कुछ न कुछ कमियां होती है।

ऐसी और नैतिक कहानियों के लिए Short Stories in Hindi पेज पर जाएँ।

Leave a Comment